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ताबूते सकीना क्या है??

यह शमशाद की लकड़ी का ,क सन्दूक था, जो हजरत आदम عليه السلام पर नाजिल हुआ था, यह आपकी आखरी जिन्दगी तक आपके ही के पास रहा, यहाँ तक कि यह हजरत याकूब عليه السلام को मिला और आप के बाद आपकी औलादे बनी इस्राईल के कब्जे में रहा और हजरत मूसा عليه السلام को मिल गया तो आप उस में तौरात शरीफ और अपना खास-खास सामान रखने लगे।

ताबूते सकीना में अन्दर क्या था??


इस मुकद्दस सन्दूक में हजरते मूसा عليه السلام का अ़सा और इनकी मुकद्दस जूतियां और हजरत हारून عليه السلام का इमामा, हजरत सुलेमान عليه السلام की अंगूठी, तौरात की तख्तियां के चन्द टुकड़े, कुछ मन्न व सलवा, इसके अलावा हजराते अम्बिया, किराम عليهم السلام की सूरतों के हुलि, वगैरह सब सामान थे।


यह बड़ा ही मुकद्दस और बाबरकत सन्दूक था, बनी इस्राईल जब कुफ्फार से जिहाद करते थे और कुफ्फार के लश्करों की कसरत और उनकी शौकत देखकर सहम जाते और उनके सीनों में दिल धड़कने लगते तो वह इस सन्दूक को अपने आगे रख लेते थे तो इस सन्दूक से ,ेसी रहमतों और बरकतों का जुहर होता था कि मुजाहिदीन के दिलों में सुकून व इत्मिनान पैदा हो जाता था और मुजाहिदीन के सीनों में लरजते हु, दिल पत्थर की चट्टानों से ज्यादा मजबूत हो जाते थे और जिस कदर सन्दूक आगे आगे बढता था,, चुनाँचे कौमें अमालका के पाँच शहर बिल्कुल बर्बाद और वीरान होगी यहाँ तक कि उन काफिरो को यकीन हो गया कि यह मुकद्दस सन्दूक की बेअदबी का अजाब हम पर पड़ गया है, तो उन काफिरो की आँखे खुल गयी और उन लागो ने इस मुकद्दस सन्दूक को ,क बैलगाड़ी पर लादकर बेलों को बनी इस्राईल की बस्तियों की तरफ हांक दिया।


फिर अल्लाह तआला ने चार फरिश्तों को मुकर्रर फरमा दिया जो इस मुबारक सन्दूक को बनी इस्राईल के नबी हजरत शमवील عليه السلام की खिदमत में ला,, इस तरह फिर बनी इस्राईल को खोई हुई नेअमत दोबारा इनको मिल गई और यह सन्दूक ठीक उस वक्त हजरते शमवील عليه السلام के पास आया जबकि हजरते शमवील عليه السلام ने तालूत को बादशाह बना दिया था और बनी इस्राईल तालूत की बादशाही तस्लीम करने पर तैय्यार नही थे और यह शर्त ठहरी थी कि मुकद्दस सन्दूक आ जा, तो हम तालूत की बादशाही तस्लीम कर लेंगे, चुनाँचे सन्दूक आ गया और बनी इस्राईल तालूत की बादशाही पर राजी हो गये।


(तफ्सीर रूह-उल-बयान, जिल्द 1, सफा 386)


कुरआन मजीद में अल्लाह रब्बुल इज्जत ने सूरह बकरह में इस सन्दूक का तजकिरा फरमाते हु, इरशाद फरमायारू- (सूरहबकरह, आयत 248)


तर्जुमारू- ष्और इनसे इनके नबी ने फरमायारू इसकी बादशाही की निशानी यह है कि तुम्हारे पास वो ताबूत आ जायेगा जिसमे तुम्हारे रब की तरफ से दिलों का चैन है और मुअज्जज मूसा और हारून की छोड़ी हुई चीजों का बकिया है, फरिश्ते इसे उठा, हु, होगें, बेशक इसमें तुम्हारे लि, बड़ी निशानी है अगर तुम ईमान वाले हो।


 


(सूरहबकरह, आयत 248)


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